पंचमुखी रुद्राक्ष

पंचमुखी रुद्राक्ष

पंचमुखी रुद्राक्ष को स्वयं रुद्र कालाग्नि‍ के समान बताया गया है, इसे धारण करने से शांति व संतोष की प्राप्त‍ि होती है |

  • पंचमुखी रुद्राक्ष को धारण करने से व्यक्ति दीर्घायु होता है, उसकी अकाल मृत्यु नहीं होती।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष पर बृहस्पति ग्रह का अधिपत्य होता है, और ज्योतिषी के अनुसार माना जाता है कि जिस जातक की कुंडली में बृहस्पति ग्रह अच्छा व बहुत मजबूत होता है, तो उसके जीवन के लगभग सभी क्षेत्रों में कई सारे लाभ मिलते हैं और उसके ज्यादातर कामों में उसे सफलता मिलती है। ऐसे में पंचमुखी रुद्राक्ष को धारण करने से बृहस्पति ग्रह को प्रसन्न किया जा सकता है । उनके नकारात्मक प्रभावों को कम किया जा सकता है।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष भगवान शिव का प्रतीक होता है। इसे धारण करने वाले व्यक्ति पर सदा भगवान शिव की कृपा बनी रहती है। इसे धारण करने से जीवन में समृद्धि एवं सफलता आती है।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष को स्वयं भगवान शिव के काल अग्नि रूप द्वारा शासित होता है। इसे धारण करने से आसपास के नकारात्मक ऊर्जा दूर रहती है।
पंचमुखी रुद्राक्ष

पंचमुखी रुद्राक्ष

पंचमुखी रुद्राक्ष को स्वयं रुद्र कालाग्नि‍ के समान बताया गया है, इसे धारण करने से शांति व संतोष की प्राप्त‍ि होती है |

  • पंचमुखी रुद्राक्ष को धारण करने से व्यक्ति दीर्घायु होता है, उसकी अकाल मृत्यु नहीं होती।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष पर बृहस्पति ग्रह का अधिपत्य होता है, और ज्योतिषी के अनुसार माना जाता है कि जिस जातक की कुंडली में बृहस्पति ग्रह अच्छा व बहुत मजबूत होता है, तो उसके जीवन के लगभग सभी क्षेत्रों में कई सारे लाभ मिलते हैं और उसके ज्यादातर कामों में उसे सफलता मिलती है। ऐसे में पंचमुखी रुद्राक्ष को धारण करने से बृहस्पति ग्रह को प्रसन्न किया जा सकता है । उनके नकारात्मक प्रभावों को कम किया जा सकता है।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष भगवान शिव का प्रतीक होता है। इसे धारण करने वाले व्यक्ति पर सदा भगवान शिव की कृपा बनी रहती है। इसे धारण करने से जीवन में समृद्धि एवं सफलता आती है।
  • पंचमुखी रुद्राक्ष को स्वयं भगवान शिव के काल अग्नि रूप द्वारा शासित होता है। इसे धारण करने से आसपास के नकारात्मक ऊर्जा दूर रहती है।